सं.पु.
फा.लश्कर
1.सेना, फौज।
- उदा.--1..झिलम टोप सूंधौ सिर झड़ियौ, पटझर हूं चूड़ामणि पड़ियौ। करि जय धसै नगर मझि लस-कर, अटकै नह भिळियौ वरियावर।--सू.प्र.
- उदा.--2..ताहरां रांमसिंघ जी मुंह रा भारी तिण नूं कह्यौ क्यूँ नहीं। आगै लसकर मांहै गया।--द.वि.
- उदा.--3..लाखां लसकर लार, धरमराज जिसड़ौ धणी। भारत वाळौ भार, सीमा अरजुन रै भुजां।--सरूपदास
2.बहुत से व्यक्तियों का समूह, दल।
- उदा.--1..लड़ालूँम डाळ्यां लमूटे, जांणै झबरक झूँटणा। ओयण में लसकर लुगायां, छाणां चुगणां चूंटणा।--दसदेव,
- उदा.--2..मिठड़ा सा भोजन बहू बहवड़दे जिमावै, आयौ पितरां रौं लसकर जीमग्यौ। ठंडड़ा सा पांणी बहू लाडलदै पियावै, आयौ पितरां रौ लसकर पी गयौ।--लो.गी.
3.फौज की साज-सज्जा का सामान।
- उदा.--4..सूरसिंहजी साहयबां कंवरजी स्रीगजसिंघ जी नै हुकम दीयौ के पातसाह सलांमत आपनै जाळौर सांचोर इनायत कीया है सू थे सारौ साथ लै जाळौर जाईजौ। नै जाळौर जायनै झगड़ौ कर जाळोर लीजौ। तरै जोधपुर सुं फौज लसकर लैर कंवर जी स्री गजसिंघ जी नै सिरदारां में राठौड़ राजसिंघ जी खीमावत सोबायत ले'र जाळोर आया नै गांव गुदरै डेरा किया।--नैणसी
5.जहाज में कार्य करने वालों का दल।
7.लुटेरा।
- उदा.--1..अधिक धण झाउ उझाउ अवगाहतां, लसकरां तसकरां पड़्या लारै। धींग गच्छराज रौ ध्यांन मन ध्यावतां विकट संक्कट सहू निकट वारै।--ध.व.ग्रं.
- उदा.--2..जागै जोगणी भय दुख नह व्यापै, पासे ईस पयारै। लसकर तसकर कोय न लागै, चार पहोर नीसतारै।--मालौ सांदू,
रू.भे.
लसकरी, लसक्कर, लस्कर, लहसंकर, ल्हसकर